विकासखंड चावरपाठा के अंतर्गत मनकवारा में ग्राम पंचायत सचिव की फर्जी नियुक्ति को लेकर मुख्य कार्यपालन अधिकारी ने जांच हेतु एक आदेश जारी दिनांक 02/08/2024 को जारी किया था। जिसमें चार सदस्यीय जांच समिति गठित की गई थी और तीन दिवस के भीतर समिति को जांच करना थी और अनुविभागीय अधिकारी को प्रतिवेदन भेजना था।
लेकिन जांच समिति के अधिकारियों ने एक माह से ज्यादा समय हो जाने पर भी एसडीम महोदय को जांच प्रतिवेदन नहीं भेजा है। जहां समिति के अधिकारी यशवंत ठाकुर बीपीओ जनपद पंचायत चांवरपाठा प्रभारी, अजय द्विवेदी एपीओ, जनपद पंचायत चांवरपाठा सह प्रभारी, ऋषभ पचौरी एडीईओ, जनपद पंचायत चांवरपाठा सहायक, रामरतन ठाकुर पीसीओ, जनपद पंचायत चांवरपाठा सहायक । वरिष्ठ अधिकारियों के आदेशों का पालन नहीं किया जांच समिति ने और अभी तक एसडीएम महोदय को जांच प्रतिवेदन नहीं भेजा गया है। जांच समिति की उदासीनता के कारण क्या जांच समिति के ऊपर कोई दबाव है। जांच समिति पर सवाल खड़े हो रहे हैं। मामला नरसिंहपुर जिले के जनपद पंचायत चांवरपाठा के अंतर्गत आने वाली ग्राम पंचायत मनकवारा में सन 2007 में पंचायत कर्मी सचिव की फर्जी नियुक्ति हुई थी जिसमें सूचना के अधिकार अधिनियम के तहत दस्तावेजों से हुआ बड़ा खुलासा जिसमें बिना कक्षा दसवीं की अंक सूची प्राप्त बिना ही नियुक्ति दी गई है। ग्राम पंचायत मनकवारा के विज्ञापन आदेश दिनांक 23/7/2007 से 30/7/2007 तक पंचायत कर्मी भर्ती के फॉर्म जमा कर सकते हैं।
ग्राम पंचायत मनकवारा ने रामनरेश कौरव को पंचायत कर्मी पद का नियुक्ति आदेश दिनांक
8/8/2007 को जारी किया गया है
जबकि रामनरेश कौरव ने कक्षा 10वीं की द्वितीय प्रतिलिपी दिनांक 13/08/2007 को माध्यमिक शिक्षा मंडल भोपाल द्वारा जारी की गई है जिसमें कक्षा 10वीं के 41 प्रतिशत को बढ़ा कर 46 प्रतिशत लिखा गया है। आवेदक रामजी चौधरी ने फर्जी नियुक्ति के संबंध में जांच हेतु अनुविभागीय अधिकारी को दिनांक 9/7/2024 को एक आवेदन दिया गया था। जिसमें उच्च अधिकारियों से निष्पक्ष जांच की मांग की है। इस मामले में उच्च अधिकारियों को बार-बार अवगत कराया